विश्व की सबसे बड़ी तोप : " जय बाण " :जयगढ़ दुर्ग, जयपुर
जरूरी नहीं कि जंग में
हर तलवार चले,
खामोश रहती हैं कुछ तलवारें
खौफ बनाने के लिए.
हर तलवार चले,
खामोश रहती हैं कुछ तलवारें
खौफ बनाने के लिए.
हर किले और पुरातत्व संग्राहलय के प्रवेशद्वार पर स्थित तोप के साथ तस्वीर लेने का लोभ संवरण शायद ही कोई कर पाता हो !! लेकिन अरावली पहाड़ियों पर स्थित जयगढ़ किले में संवाई जय सिंह द्वितीय के समय 1720 में निर्मित 50 टन वजनी, पहिया चालित, गिनीज बुक में दर्ज, दुनिया की सबसे बड़ी तोप “जय बाण” कई मायनों में अद्वितीय है.
1720 में जब इस तोप का परीक्षण हुआ था तो मुग़ल बादशाह मुहम्मद शाह भी उपस्थित था. कहा जाता है की इसकी मारक क्षमता 40 किमी तक थी तोप से परीक्षण के समय दागा गया 50 किलो वजनी गोला चाकसू में फटा, उस स्थान पर आज भी तालाब देखा जा सकता है ..
तोप को अत्यधिक वजनी होने के बावजूद भी, चार हाथियों के माध्यम से 360 अंश तक घुमाया जा सकता था.लेकिन ये तोप केवल परीक्षण पर ही उपयोग की जा सकी, मुगलों से मैत्रीपूर्ण सम्बन्ध होने के कारण इसका दुबारा कभी उपयोग नही हुआ. संग्रहालय में इसका 50किलो वजनी गोला आज भी संरक्षित है दशहरे के दिन इस तोप का परम्परानुसार पूजन होता है.
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